Episode 13


"बेग फॉर इट यू मदर. .

और अब वो मेरी हील चूस रहे थे ,पूरी ताकत से।

क्या कोई छिनार प्रोफेशनल लौंडिया चूसेगी ,

दोनों होठ हील के चौड़े बेस से लेकर अगले हिस्से तक ,जैसे कोई लंड के बेस से लेकर , एकदम सुपाड़े तक जोर जोर से चूसे ,

'सक इट बेबी , सक इट हार्ड ,सक इट लाइक अ हार्ड कॉक , सक ,सक , येस्स्स्स सक ,… हार्ड "

मैंने और उकसाया।

"बेग फॉर इट यू मदर फकर , बेग। "

मुंह में ५ इंच की हील ठूंसी हुयी थी फिर भी ऊऊग्गग्ग ओआगग करते वो बोले ,

' आई बेग , प्लीज गिव मी ,गिव मी '

थोड़ा सा हील बाहर निकाल कर , फिर एक झटके में मैंने हील पेल दिया , एकदम अंदर तक जैसे कोई , किसी नयी लौंडिया के गले तक अपना मोटा लंड ठूस दे।

कुछ देर बाद मैंने हील निकाल लिया लेकिन न उनकी लालची निगाहें मेरी सैंडल पर से हटीं , न मेरे इरादे कम हुए।

उनकी जीभ पूरी तरह निकली हुयी थी , आँखे भी बाहर ,

और अब नंबर था सैंडल के अपर का ,

पूरी जीभ बाहर निकाल के वो चाट रहे थे , नीचे से उपर तक ,हाथ से पकड़ के ,

" चाट मादरचोद , तेरी माँ बहनो की भी ऐसे ही चटवाउंगी , बहुत रस है उनकी फुद्दी में "

मैं बोली और फिर हड़काया ,

जब मम्मी पूछ रही थीं तेरी माँ के जोबन की साइज तो बताया क्यों नहीं खुल के , साल्ले मादरचोद , मुंह खोल , खोल पूरा।

और उन्होंने बड़ा सा मुंह खोल दिया जैसे डाक्टर के सामने लोग आ करते हैं और मैंने जोर से अपना सैंडल उनके मुंह में ठेल दिया , जितना घुस सका , फिर प्रेशरलगा के ,

" और खोल , और फैला मादरचोद, जैसे तेरी माँ बहने गांड मराने के लिए फैलाती हैं ,
हाँ और और,

धीमे धीमे कर के मैंने आधा पैर उनके मुंह में ठूस दिया।

उनकी आँखे उबली पड़ रही थीं , गाल फूले फूले , मुंह फटा जा रहा था ,लेकिन प्रेशर मैंने कम नहीं किया , ऊपर से गालियों की बौछार ,

" बोल फिर कभी मम्मी पूछेंगी तो मना करेगा बताने से "

उन्होंने सर हिला के बताया नहीं मना करेंगे।

"खोल खोल और मुंह , अरे तेरे मुंह इसलिए फैला रही हूँ की तू मम्मी के समधन के बड़े बड़े dd साइज के + साइज जे जोबन पूरा घोंट सके , चूस सके , काट सके , बोल चूसेगा न मेरी सास की बड़ी बड़ी चूंचियां। "

उन्होंने सर ऊपर नीचे कर के हामी में सर हिलाया , और मैंने एक बार फिर सैंडल अंदर पेली।

मैंने दूसरे सैंडल को उनके मोटे खूंटे के ऊपर रखा , वो फनफना रहा था।

इसका मतलब माम की बात सही थी , मेरी सास के ऊपर इन्हे चढाने का जो उनका इरादाथा ,हलके से मैंने सैंडल से उनके खूंटे को रगड़ा , और बोला ,

" चल , आँखे बंद कर के मेरी सैंडल को ऐसे चूस , जैसे मेरी सास की बड़ी बड़ी मोटी मोटी चूंची चूस रहे हो ,आँख बंद और २० तक गिनती , सोचो तेरे मुंह में ,… "

२० तो दूर , १० पार करने तक ही खूंटा एकदम खड़ा हो गया।

मेरा शक और मम्मी का प्लान एकदम परफेक्ट था।

और अब मैंने मोर्चा बदला।
सैंडल जो उनके मुंह में घुसी थी बाहर निकाल के दूसरी सैंडल उनकी ओर बढ़ाई।

" चाटेगा , बोल "

उनका मुंह अब तक दुःख रहा होगा लेकिन वो बोले , " हाँ "

" ठीक है दूंगी लेकिन पहले बोल अपने माल कम बहन की भी चाटेगा न। "

"हूँ "उनकी आँखों में एक अजब सी चमक थी।

लेकिन डांट पड़ गयी ,

" नाम ,क्या चाटेगा ,खुल के। "

" चाटूंगा , गुड्डी की चूत ,गुड्डी की चूत चाटूंगा। "

" सिरफ चूत , गांड नहीं चाटेगा " मैंने और रगड़ा , और उन्होंने कबूला ,

" वो भी गांड भी , गुड्डी की गांड भी चाटूंगा। "

और अब मैंने उन्हें थोड़ी देर दूसरे पैर की सैंडल किस करने , लिक करने दी।

५ मिनट तक लगातार वो जोर जोर से चाटते रहे , लेकिन अब बीच बीच में उनकी निगाह मेरी ब्लैक फिशनेट स्टॉकिंग पर पड़ रही थीं। ललचाई निगाहें बार बार वहीँ,…

यू हैव बीन अ गुड ब्वॉय , गो अहेड।

मुस्करा के मैं बोली और जैसे किसी बच्चे को हवा मिठाई मिल जाए , बस उसी तरह ,

ढेर सारे किस और लांग लिंक्स

फिशनेट स्टॉकिंग के अंदर मेरी गोरी मखमली पिंडलियाँ झलक रही थीं और उन्हें देख देख के , उनकी तो ,…

पहले तो बटरफ्लाई किसेज ,,… फिर तो दिल अभी भरा नहीं ,… और ,…और ,… मेरे घुटनों के पास पहुँच के वो एक पल के लिए ठहर गए , लेकिन मेरी बड़ी बड़ीआँखों ने आगे बढ़ने की इजाजत दे दी।

मैं प्यार से उनके घने बाल सहला रही थी।

और अब मैंने उन्हें थोड़ी देर दूसरे पैर की सैंडल किस करने , लिक करने दी।

५ मिनट तक लगातार वो जोर जोर से चाटते रहे , लेकिन अब बीच बीच में उनकी निगाह मेरी ब्लैक फिशनेट स्टॉकिंग पर पड़ रही थीं। ललचाई निगाहें बार बार वहीँ,…

यू हैव बीन अ गुड ब्वॉय , गो अहेड। मुस्करा के मैं बोली और जैसे किसी बच्चे को हवा मिठाई मिल जाए , बस उसी तरह ,

ढेर सारे किस और लांग लिंक्स

फिशनेट स्टॉकिंग के अंदर मेरी गोरी मखमली पिंडलियाँ झलक रही थीं और उन्हें देख देख के , उनकी तो ,…

पहले तो बटरफ्लाई किसेज ,,… फिर तो दिल अभी भरा नहीं ,… और ,…और ,… मेरे घुटनों के पास पहुँच के वो एक पल के लिए ठहर गए , लेकिन मेरी बड़ी बड़ीआँखों ने आगे बढ़ने की इजाजत दे दी।

मैं प्यार से उनके घने बाल सहला रही थी।

धीमे धीमे मैंने अपनी स्टॉकिंग्स नीचे दोनों हाथों से रोल डाउन करनी शुरू कर दी।

दूसरे पैर की स्टॉकिंग उनके होंठ हलके से उसे पकड़ के उतार रहे थे।

मैं बिस्तर के एकदम किनारे आ गयी थी , झुकी हुयी थी और उनकी आँखे अब एकदम मेरे कोर्सेट से बाहर छलकते हुए 34 सी उभारों से चिपकी हुयी थीं।

मैं अपने दोनों हाथ पीछे ले गयी और बोला ,

" ओके बेबी , बी अ गुड बेबी , अपनी दोनों आँखे बंद कर लो , जोर से , एकदम जबतक मैं नहीं कहूँ खोलना मत।

जब उनकी आँखे खुलीं मिस्ट्रेस पैट्रिशिया गायब हो चुकी थीं और सिडक्ट्रेस मैं , उनके सामने थी।

सिडक्ट्रेस

मेरे लम्बे रेशमी घने बाल , लहराते, मेरे गोल गोल कन्धों को सहलाते , बस मेरे उभारों को कभी ढकते कभी दिखाते।

एक हाफ कप, लेसी गुलाबी ब्रा, बस किसी तरह मेंरे गोरे गोरे मांसल कबूतरों को कैद रखने की असफल कोशिश कर रहा था।

पतली सी चांदी की चेन अभी भी मेरी अंगूठी सी कमर को घेर रही थी और एक लहराती साटन की करीब करीब पारदर्शी स्कर्ट , घुटनो से बहुत ऊपर तक और उसकेनीचे एक पतली , गुलाबी थांग ,

उनकी जब आँखे खुली तो बस उनकी हालत ख़राब हो गयी ,

लेकिन उनके होश उड़ा दिए मेरे पांवों ने। खूब गोरे , पेडिक्योर्ड , चांदी की छोटे छोटे घुंघरू वाली पतली सी पायल , रुनझुन करते बिछुए ,और सबसे बढ़कर खूब गाढ़ा, स्कारलेट शेड का लाल महावर , पतला सा पूरे तलवे के किनारे किनारे , जो मेरे गोरे गोरे तलुवों को और उभार रही थी।

ललचाई निगाहों से वो देख रहे थे , उसी तरह जमींन पे बैठे हुए , और मेरा पैर फुट स्टूल पे।

मैंने हलके से अपने पैर हिला दिए और ढेर सारे घुँघरू बिछुए के , रुनझुन रुनझुन आवाज , रात के सन्नाटे को तोड़ती ,…

जैसे बरसों से शांत तालाब में किसी ने ककड़ फ़ेंक दिया हो और ढेर सारी लहरें उठ गयी हों.
मैं उनकी ओर देख रही थी , और वो एकदम खोये हुए ,सिर्फ ,

मेरे ' फायर इंजिन रेड ' नेल्स , अंगूठे और अँगुलियों को देखते ,

अल्ट्रा स्मूथ सोल्स , सक्युलेन्ट टोज़ ,

और मैंने फिर जरा सा पैर हिला दिया ,

बिछुओं की रुनझुन के साथ ,पायल की झंकार भी अब कमरे में गूँज गयी ,

और वो बस पागल नहीं हुए।

मैंने कनखियों से 'उसकी ' ओर देखा , 'बहादुर सिपाही ' एकदम तैनात , चुस्त खड़ा , पूरे ९० डिग्री पे

I know you like my cute feet
and the way i wiggle my toes
I know you'll love their aroma
come give them a sniff with your nose

Do you prefer them in
bare, shoes, stockings, or in socks
the mere thought of my feet
gets you hard as a rock

You love painting my toenails
and rubbing yourself to the thought of my feet
I've lost count of the times
that has made you wet and sticky

I put my feet in your face
so you can give them a whiff
and it doesn't take long
you to get turned on and stiff

Every chance you get
you're like a kid in a candy store
and my toes are your favorite satisfying treat

मैं हलके हलके ऑलमोस्ट फुसफुसाते हुए बोल रही थी और वह अपने कानों में हर शब्द रोप रहे थे ,

और हर लाइन के बाद ,

यस्स ,यस्स्स , माई , प्लीज , प्लीज दो न , वो अपने घुटनो के बल मेरे तलुवों से बस कुछ इंच दूर और वो बस तड़प रहे थे

“कुछ चाहिए क्या किसी को , मैंने आँख नचा के मुस्करा के पूछा ,

" हाँ , हाँ , " वो बोल पड़े , आँखे अभी भी महावर रंगे , गोरे तलुओं से चिपकी थीं।

मैंने हलके से पैर हिलाया ,मेरे बिछुओं की रुनझुन और पायल की झंकार ने हामी भर दी।

और फिर तो उनके होंठ ,

पहले एक एक उँगलियाँ , फिर अंगूठा , सिर्फ किस और लिक ही नहीं , उनकी प्यासी लालची जीभ कभी उन्हें फ्लिक करती कभी सक करतीं।

और फिर मेरे तलवे का आर्च , उसकी गहराई , हजारों छोटे छोटे चुम्बन जैसे सावन भादों की झड़ी लगी हो। फिर लम्बी जीभ से लिकिंग , और उसके बाद जैसे कोईनाउँ महावर लगा रही हो , एड़ी से लेकर ,किनारे किनारे , फिर सारी उंगलियां , एक के बाद एक ,…

और फिर दूसरा पैर , फिर मेरी गोरी गोरी मांसल पिंडलियाँ , जो पिण्डारियों की तरह उनका मन लूट रही थीं ,चुम्बन के पुष्पों का अर्पण ,

मैंने कनखियों से 'वहां ' देखा , एकदम टनाटन , ऐसा कड़ा औ खड़ा की पूछिये मत।

और जब उनके होंठ मेरे घुटनों तक पहुँच गए , तो मैंने उन्हें उनके सपने से जगाया।

" यू हैव बीन अ वेरी गुड ब्वॉय ,यू विल गेट टू गिफ्ट्स , मेरी सेक्सी आवाज ने उन्हें सपने से उठाया।

जैसे किसी ने जादू कर दिया हो बस वो मन्त्र्वत देख रहे थे ,

मैंने उनके पैरों की ओर इशारा किया और उन्होंने एक पैर आगे बढ़ाया ,

मैंने धीमे से अपने पैर की चांदी की घंघरुओं वाली पायल खोली , और उनके पैरों में बाँध दी।

" ये लो , मेरी गिफ्ट , अब तुझे ये हरदम मेरी याद दिलाएगी , हरदम तुम्हारे साथ ,हाँ लेकिन अब तुम इसे कभी भी उतारनहीं सकते , हैं न अच्छी। "

उनकी निगाहें मेरी पायल से चिपकी थीं।

और वह अभी उस से उबर भी नहीं पाये थे की मेरी दूसरी गिफ्ट

गिफ्ट

और वह अभी उस से उबर भी नहीं पाये थे की मेरी दूसरी गिफ्ट

मैंने एक सिल्कन सारोंग सी लपेट रखी थी , वो एक झटके में खुल के मेरे हाथ में और अगले पल , उनके चेहरे पे।

वो ख़ुशी से निहाल हो गए , लेकिन असली गिफ्ट तो अभी बाकी थी।

मेरी गुलाबी चुन्मुनिया सिर्फ एक छोटे से गुलाबी थांग में छुपी थी , छुपी कम खुली ज्यादा।

आगे से दो अंगुल की पट्टी , लेसी मेरी पुत्तियों से चिपकी ,उन्हें दबोचे , लेकिन पीछे से तो बस एक पतले धागे सी , मेरी नितम्बों के दरार के बीच छुपी,

और मैं अब नीचे थी , पलंग को दोनों हाथों से पकडे , अपने पिछवाड़े से उन्हें ललचाती ,अपने नितम्बों से उन्हें ललचाती , लुभाती।

चूतड़ के मामले में मैं एकदम अपनी मम्मी पे गयी थी। उनकी एकलौती बिटिया होने के नाते बहुत कुछ इन्हेरिट किया था मैंने , लेकिन सबसे बढ़कर , यही

दीर्घ नितम्बा , लम्बे सुरु की तरह पैरों और २६ इन्च की कटीली पतली कमरिया पे , एकदम कड़े कड़े , भरे हुए ३५ + के हिप्स कुछ ज्यादा ही जानमारु लगते थे , और अब जब मैं निहरी हुयी तो दो कटे तरबूजों की तरह ,

परफेक्ट शेप भी साइज भी ,

मैं जान रही थी ,उनकी क्या हालत हो रही होगी और ऊपर से मुड़ कर जो मैंने उन्हें आँख मारी और अपनी लम्बी उँगलियों से अपने चूतड़ को सहला के , थोड़ा फैलाके पूछा ,

" बोल चाहिए "

" हाँ , हाँ एकदम प्लीज दो न ,प्लीज "

उनकी हालत खराब हो रही थी।

ही वाज जस्ट सैलीवेटिंग विद लस्ट।

" लो न "

बड़ी अदा से मैं बोली और फिर सामने देखने लगी। [/

अगले ही पल मेरे दोनों चूतड़ों पर चुम्मियों की बारिस होने लगी और साथ में लिकिंग भी ,

सच में लिप सर्विस में माहिर थे वो।

कुछ देर के बाद बिना कुछ बोले मेरे हाथों ने फिर मेरे चूतड़ों को फैलाया , हलके से थांग को सरकाया , और फिर सीधे असली टारगेट ,

' स्वर्ग द्वार 'का रास्ता।

बिना कुछ कहे उनके होंठ वहां पहुंच गए थे और छोटे छोटे चुम्बन सीधे मेरी गांड के चारो ओर ,

स्वर्ग द्वार

असली टारगेट ,' स्वर्ग द्वार 'का रास्ता।

बिना कुछ कहे उनके होंठ वहां पहुंच गए थे और छोटे छोटे चुम्बन सीधे मेरी गांड के चारो ओर ,

' चाट ,जोर जोर से चाट। "

मैं ने बोला और बिना रुके उनके हाथ जो अब प्यार से मेरे चूतड़ सहला रहे थे , उन्होंने अब ताकत लगा के उन्हें फैला दिया और जीभ सीधे गांड के मुहाने पे।

और नीचे से ऊपर , नीचे से ऊपर ,बार बार ,

मैं गिनगीना रही थी, काँप रही थी , मस्त हो रही थी , फिर मेरे बिना कहे उन्होंने वो किया ,जो मैं इन्तजार कर रही थी ,चाह रही थी ,

उनके जीभ की टिप , पहले गांड के छेद को चाटती रही खोदती रही , फिर अंदर।

" ओह्ह हाँ , हान्न्न्न्न्न्न ,और , और, प्लीज ऐसे ही बहुत अच्छा लग रहा है , और अंदर घुसेड़ो न ,प्लीज ,… "

मेरे मुंह से सिसकियाँ निकल रही थीं।

और अब जो मुझे अच्छा लगता था , बस उन्हें भी वही अच्छा लगता था , जोर से उन्होंने दोनों हाथों से मेरे गांड को पूरी ताकत से फैलाया और , पूरी ताकत से जीभऔर अंदर ,

" ओह्ह हाँ , साल्ले , मादरचोद , चाट चाट ऐसे ही चाट , चल अगर मुझे खुश कर दिया न तो तेरी माँ की भी गांड भी ऐसे हीचटवाउंगी तुझसे , उसके चूतड़ तो जगत मसहूर है एकदम बड़े बड़े , चाट साल्ले मादरचोद , और अंदर , हाँ ,…हाँ , … गांडभी मरवाउंगी तेरी माँ की , पहले चटवाउंगी अपने सामने , ओह्ह बहुत अच्छा , प्लीज और थोड़ा सा , और थोड़ा सा , हाँहांआआअ , ओह्ह ओह्ह्ह्ह्ह मादर , बहन के भंडुए ,ओह्ह अहह "

गूई,लिसलिसी सी , लिथड़ी चिपकी जीभ की टिप अब वहां पहुँच गयी थी , और मेरी पूरी देह में गिनगिनी हो रही थी ,

जोर से दोनों हाथों से मैंने पलंग को पकड़ रखा था ,मस्ती से मेरी आँखे बंद हो रही , यही तो मैं चाहती थी ,

कुछ भी गर्हित ,वर्जित न हो हम दोनों के बीच में , नो होल्ड्स बार्ड ,

और मैंने भी अपनी मस्त गांड के छेद को जोर से पीछे धक्का दे उनके मुंह पे एकदम चिपका दिया।

उन्होंने भी दुगने जोश से ,

वो गुई गुई सी लिसलिसी सी , और वो भी , जैसे कोई चम्मच से करोच रहा हो , गांड के अंदर की दीवारों पे उनकी जीभ रगड़ रगड़ के , गोल गोल

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